Stock market : भूल जाइए टेक्निकल इंडिकेटर्स! 8 स्टेप्स की यह ट्रेडिंग स्ट्रैटजी देगी कमाई की गारंटी
Trading Strategy : भारत की सदियों पुरानी ध्यान यानी मेडिटेशन की प्रक्रिया में आपके मन से फिजूल के विचार एक-एक करके निकल जाते हैं और आप शांति की स्थिति में पहुंच जाते हैं। इसे सफलतापूर्वक करने पर आपका तनाव बिल्कुल खत्म होता जाता है। शेयर बाजार में 8 स्टेप्स वाली ऐसी ही ट्रेडिंग की स्ट्रैटजी है, जो आपको सफलता की गारंटी दे सकती है। यह मुंबई बेस्ड ट्रेडर विजय ठक्कर (Vijay Thakkar) ने तैयार की है
मुंबई बेस्ड ट्रेडर विजय ठक्कर की यह स्ट्रैटजी आपकी ट्रेडिंग स्क्रीन को अव्यवस्थित करने का भी काम करती है, जिसमें आपको सभी टेक्निकल इंडिकेटर्स (technical indicators) को हटाना होगा, ताकि आप देख सकें कि पीछे क्या छिपा है
Trading Strategy : भारत की सदियों पुरानी ध्यान यानी मेडिटेशन की प्रक्रिया में आपके मन से फिजूल के विचार एक-एक करके निकल जाते हैं और आप शांति की स्थिति में पहुंच जाते हैं। इसे सफलतापूर्वक करने पर आपका तनाव बिल्कुल खत्म होता जाता है। शेयर बाजार में 8 स्टेप्स वाली ऐसी ही ट्रेडिंग की स्ट्रैटजी है, जो आपको सफलता की गारंटी दे सकती है। यह मुंबई बेस्ड ट्रेडर विजय ठक्कर (Vijay Thakkar) ने तैयार की है। हालांकि, यह आपकी ट्रेडिंग स्क्रीन को अव्यवस्थित करने का भी काम करती है, जिसमें आपको सभी टेक्निकल इंडिकेटर्स (technical indicators) को हटाना होगा, ताकि आप देख सकें कि पीछे क्या छिपा है। हम यहां आपकी स्ट्रैटजी के बारे में ही बता रहे हैं।
ट्रेड सेटअप
Trade set-up : इसमें ठक्कर एंट्री और एग्जिट प्वाइंट निकालने के लिए कैंडिलस्टिक चार्ट (candlestick chart) पर लॉन्ग टर्म प्राइस मूवमेंट का इस्तेमाल करते हैं। बेसिक आइडिया मूमेंटम पर सवार होने का है। इस स्ट्रैटजी में हर हफ्ते महज 2 घंटे का समय लगता है।
जब शेयर मार्केट गिरता है तो कहां जाता है आपका पैसा? यहां समझिए इसका गणित
Share market: जब शेयर मार्केट डाउन होता है, तो निवेशकों का पैसा डूबकर किसके पास जाता है? क्या निवेशकों के नुकसान से किसी को मुनाफा होता है. आइए इसका जवाब बताते हैं.
- शेयर मार्केट डिमांड और सप्लाई के फॉर्मूले पर काम करता है
- अगर कंपनी अच्छा परफॉर्म करेगी तो उसके शेयर के दाम बढ़ेंगे
- राजनीतिक घटनाओं का भी शेयर मार्केट पर पड़ता है असर
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नई दिल्ली: आपने शेयर मार्केट (Share Market) से जुड़ी तमाम खबरें सुनी होंगी. जिसमें शेयर मार्केट में गिरावट और बढ़त जैसी खबरें आम हैं. लेकिन कभी आपने सोचा है कि जब शेयर मार्केट डाउन होता है, तो निवेशकों का पैसा डूबकर किसके पास जाता है? क्या निवेशकों के नुकसान से किसी को मुनाफा होता है. इस सवाल का जवाब है नहीं. आपको बता दें कि शेयर मार्केट में डूबा हुआ पैसा गायब हो जाता है. आइए इसको समझाते हैं.
कंपनी के भविष्य को परख कर करते हैं निवेश
आपको पता होगा कि कंपनी शेयर मार्केट में उतरती हैं. इन कंपनियों के शेयरों पर निवेशक पैसा लगाते हैं. कंपनी के भविष्य को परख कर ही निवेशक और विश्लेषक शेयरों में निवेश करते हैं. जब कोई कंपनी अच्छा प्रदर्शन करती है, तो उसके शेयरों को लोग ज्यादा खरीदते हैं और उसकी डिमांड बढ़ जाती है. ऐसे ही जब किसी कंपनी के बारे में ये अनुमान लगाया जाए कि भविष्य में उसका मुनाफा कम होगा, तो कंपनी के शेयर गिर जाते हैं.
डिमांड और सप्लाई के फॉर्मूले पर काम करता है शेयर
शेयर मार्केट डिमांड और सप्लाई के फॉर्मूले पर काम करता है. लिहाजा दोनों ही परिस्थितियों में शेयरों का मूल्य घटता या बढ़ता जाता है. इस बात को ऐसे लसमझिए कि किसी कंपनी का शेयर आज 100 रुपये का है, लेकिन कल ये घट कर 80 रुपये का हो गया. ऐसे में निवेशक को सीधे तौर पर घाटा हुआ. वहीं जिसने 80 रुपये में शेयर खरीदा उसको भी कोई फायदा नहीं हुआ. लेकिन अगर फिर से ये शेयर 100 रुपये का हो जाता है, तब दूसरे निवेशक को फायदा होगा.
कैसे काम करता है शेयर बाजार
मान लीजिए किसी के पास एक अच्छा बिजनेस आइडिया है. लेकिन उसे जमीन पर उतारने के लिए पैसा नहीं है. वो किसी निवेशक के पास गया लेकिन बात नहीं बनी और ज्यादा पैसे की जरूरत है. ऐसे में एक कंपनी बनाई जाएगी. वो कंपनी सेबी से संपर्क कर शेयर बाजार में उतरने की बात करती है. कागजी कार्रवाई पूरा करती है और फिर शेयर बाजार का खेल शुरू होता है. शेयर बाजार में आने के लिए नई कंपनी होना जरूरी नहीं है. पुरानी कंपनियां भी शेयर बाजार में आ सकती हैं.
शेयर का मतलब हिस्सा है. इसका मतलब जो कंपनियां शेयर बाजार या स्टॉक मार्केट में लिस्टेड होती हैं उनकी हिस्सेदारी बंटी रहती है. स्टॉक मार्केट में आने के लिए सेबी, बीएसई और एनएसई (नेशनल स्टॉक एक्सचेंज) में रजिस्टर करवाना होता है. जिस कंपनी में कोई भी निवेशक शेयर खरीदता है वो उस कंपनी में हिस्सेदार हो जाता है. ये हिस्सेदारी खरीदे गए शेयरों की संख्या पर निर्भर करती है. शेयर खरीदने और बेचने का काम ब्रोकर्स यानी दलाल करते हैं. कंपनी और शेयरधारकों के बीच सबसे जरूरी कड़ी का काम ब्रोकर्स ही करते हैं.
निफ्टी और सेंसेक्स कैसे तय होते हैं?
इन दोनों सूचकाकों को तय करने वाला सबसे बड़ा फैक्टर है कंपनी का प्रदर्शन. अगर कंपनी अच्छा परफॉर्म करेगी तो लोग उसके शेयर खरीदना चाहेंगे और शेयर की शेयर मार्केट में ट्रेडिंग कैसे किया जाता है मांग बढ़ने से उसके दाम बढ़ेंगे. अगर कंपनी का प्रदर्शन खराब रहेगा तो लोग शेयर बेचना शुरू कर देंगे और शेयर की कीमतें गिरने लगती हैं.
इसके अलावा कई दूसरी चीजें हैं जिनसे निफ्टी और सेंसेक्स पर असर पड़ता है. मसलन भारत जैसे कृषि प्रधान देश में बारिश अच्छी या खराब होने का असर भी शेयर मार्केट पर पड़ता है. खराब बारिश से बाजार में पैसा कम आएगा और मांग घटेगी. ऐसे में शेयर बाजार भी गिरता है. हर राजनीतिक घटना का असर भी शेयर बाजार पर पड़ता है. चीन और अमेरिका के कारोबारी युद्ध से लेकर ईरान-अमेरिका तनाव का असर भी शेयर बाजार पर पड़ता है. इन सब चीजों से व्यापार प्रभावित होते हैं.
ऑनलाइन स्टॉक ट्रेडिंग
फॉरेक्स टाइम लिमिटेड (www.forextime.com/eu) साइप्रस प्रतिभूति एवं विनिमय आयोग द्वारा विनियमित है, जिसका CIF लाइसेंस नंबर है 185/12, तथा यह दक्षिण अफ्रीका के फाइनेंशियल सेक्टर कंडक्ट अथॉरिटी (FSCA) द्वारा लाइसेंस प्राप्त है और इसका FSP नंबर 46614 है। यह कंपनी यूके के फाइनेंशियल कंडक्ट अथॉरिटी के साथ रजिस्टर्ड है, जिसका नंबर 600475 है।
ForexTime (www.forextime.com/uk) फाईनेंशियल कंडक्ट अथॉरिटी द्वारा लाइसेंस नंबर 777911 के अंतर्गत अधिकृत और विनियमित है।
Exinity Limited (www.forextime.com) मॉरीशस गणराज्य के वित्तीय सेवा आयोग द्वारा विनियमित निवेश डीलर है, जिसकी लाइसेंस संख्या C113012295 है।
कार्ड ट्रांजेक्शन एफटी ग्लोबल सर्विसेज लिमिटेड, रजिस्टर्ड नंबर HE 335426 और रजिस्टर्ड पता Ioannis Stylianou, 6, Floor 2, Flat 202 2003, Nicosia, Cyprus के माध्यम से प्रोसेस किए जाते हैं। कार्डधारक के पत्राचार के लिए पता: [email protected] व्यवसाय के स्थान का पता: FXTM Tower, 35 Lamprou Konstantara, Kato Polemidia, 4156, Limassol, Cyprus.
Exinity Limited वित्तीय फाईनेंशियल कमीशन का सदस्य है,जो फॉरेक्स मार्केट की फाइनेंशियल सर्विसेज इंडस्ट्री में विवादों का निपटारा करने वाला अंतर्राष्ट्रीय संगठन है।
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जोखिम की चेतावनी: ट्रेडिंग जोखिम भरा है। आपकी पूंजी जोखिम में है। Exinity Limited FSC (मॉरीशस) द्वारा विनियमित है।
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Trading in Stock Market : Stock Market में ट्रेडिंग कैसे करें
ट्रेडिंग करने से पहले हम आपको बताते है की स्टॉक मार्किट में ट्रेडिंग Trading in Stock Market क्या होती है एक ऐसा बाजार जहा कंपनिया अपने शेयर जारी करती है और निवेसक उन शेयरो की खरीद और बिक्री करते है जिसे शेयर मार्किट में ट्रेडिंग करना कहते है।
Trading in Stock Market
शेयर ट्रेडिंग में एक निवेशक कम दामों पर किसी कंपनी के शेयर को खरीद सकता है. निवेशक के द्वारा खरीदे गए शेयर का अगर दाम बढ़ जाए तो उसे मुनाफे के तौर पर बेच सकता है। Trading in Stock Market
शेयर मार्किट में ट्रेडिंग करने के लिए सबसे पहले आपके पास एक डिमेट अकाउंट होना चाहिये और डिमेट अकाउंट कैसे बनाये इसकी लिंक आपको दे दि जायगी लिंक पर क्लिक करके वहा से आप डिमेट अकाउंट बना ले ! अब आप अपनी कैपिटल के साथ ट्रेडिंग सुरु कर सकते है सुरु करने से पहले आपको बताते है की ट्रेडिंग 3 तरह से कर सकते है जिसकी जानकारी निम्नलिखित है
- Intraday trading
- Short term trading
- Delivery ya long term trading
1ntraday trading
Trading in Stock Market: इसको हम डे ट्रेडिंग के नाम से भी जानते है यदि कोई निवेशक एक ही दिन में स्टॉक खरीदता और बेचता है, तो इसे इंट्राडे ट्रेडिंग कहा जाता है। इंट्राडे ट्रेडिंग कम जोखिम है क्योंकि यह अल्पावधि का होता है, लेकिन यह उन ट्रेडर्स के लिए जोखिम भरा हो सकता है जो बहुत अधिक मार्जिन मनी का उपयोग करते हैं intraday trading में ओवरनाइट रिस्क नहीं रहती
intraday trading में कम पैसे से अधिक सेयरो की खरीद और बिक्री कर सकते है यदि ट्रेड अपने प्क्ष में चली जाती है तो बहुत शेयर मार्केट में ट्रेडिंग कैसे किया जाता है बढ़िया मुनाफा कमा सकते है लकिन वही यदि ट्रेड अपने विपक्ष में चली जाती है तो अपनी कैपिटल खोने का खतरा भी बना रहता है
लकिन प्रॉपर स्तोप्लोस के साथ ट्रेड करने से लोस को कम किया जा सकता है और मुनाफा को बड़ा सकते है
Short Term Trading
यह ट्रेडिंग का दूसरा पार्ट है इसमें हम शेयर को कुछ समय के लिए खरीद कर अपने डिमेट अकाउंट में रक् सकते है और जब शेयर की कीमत हमने जिस कीमत पर खरीदा उससे ऊपर चली जाती है तो उसको बेच देते है जिससे हमे फायदा हो जाता है इसमें हम अपने शेयर को 2 से 3 महीने के लिए रक् सकते है
Delivery ya Long Term Trading
डिलीवरी या पोजिशनल ट्रेडिंग के लिए एक दृष्टिकोण है जो लंबी अवधि की खरीद और होल्ड की रणनीति पर आधारित है।
इसमें कई हफ्तों या महीनों के लिए स्टॉक रखने वाले ट्रेडिंगी शामिल होते हैं, जबकि दिन के ट्रेडिंगी भी इस रणनीति को चुन सकते हैं, लेकिन इसके अलावा किसी भी तरह के बाजार में उतार-चढ़ाव पर प्रतिक्रिया कर सकते हैं। यह ट्रेडिंग शैली उच्च रिटर्न भी प्रदान करती है।
शेयर बाजार में निवेश करना चाहते हैं, तो जरूरी है Demat Account होना, जानें कैसे खुलता है, क्या होता है चार्ज
How to open a Demat Account : डीमैट खाता खोलने की प्रक्रिया बहुत आसान होती है. इसके लिए सबसे पहले आपको एर फॉर्म ऑनलाइन भरना होता है. जिसके बाद ई वेरिफिकेशन होता है. ये प्रोसेस पूरी होते ही आपका डीमैट खाता खुल जाता है.
Demat Account : शेयर बाजार में ट्रेडिंग करने के लिए जरूरी है डीमैट अकाउंट. (प्रतीकात्मक तस्वीर)
शेयर बाजार में ट्रेडिंग (Share Market Trading) कर पैसा बहुत से लोग बनाना चाहते हैं लेकिन शेयर्स खरीदने और बेचने के लिए जिस डीमैट अकाउंट की जरूरत होती है, उसके बारे में कम ही जानकारी होती है. डीमैट अकाउंट कैसे काम करता है, इस खाते को खोलने के लिए जरूरी कागजात कौन से होते हैं और कितनी फीस डीमैट खाते को खोलने के लिए खर्च करनी पड़ती है. ऐसे बहुत सारे सवालों के जवाब हम आपको इस खबर की मदद से दे रहे हैं क्योंकि शेयर ट्रेडिंग के लिए डीमैट अकाउंट होना जरूरी है, इसके बिना ट्रेडिंग नहीं की जा सकती है.
तो आइए जानते हैं डीमैट खाते से जुड़ी हर जरूरी जानकारी.
क्या होता है डीमैट खाता
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जिस तरह से बैंक अकाउंट होता है. इसी तरह से डीमैट अकाउंट भी बैंक खाते की तरह काम करता है. शेयर बाजार को रेगुलेट करने वाली संस्था SEBI के साफ निर्देश हैं कि बिना डीमैट खाते के शेयरों को किसी भी अन्य तरीके से खरीदा और बेचा नहीं जा सकता है.
डीमैट खाते की सबसे अच्छी बात होती है ये जीरो अकाउंट बैलेंस के साथ भी खोला जा सकता है. इसमें मिनिमम बैलेंस रखने की जरूरत शेयर मार्केट में ट्रेडिंग कैसे किया जाता है नहीं होती है. शेयर बाजार में निवेश के लिए निवेशक के पास बैंक अकाउंट, ट्रेडिंग अकाउंट और डीमैट खाता होने चाहिए क्योंकि डीमैट खाते में आप शेयरों को डिजिटल रूप से अपने पास रख सकते है. तो वहीं ट्रेडिंग अकाउंट से मदद से शेयर, म्युचुअल फंड और गोल्ड में निवेश किया जा सकता है.
कैसे खोलें डीमैट खाता
- शेयरों में ऑनलाइन निवेश करने के लिए सबसे ज्यादा जरूरी डीमैट खाता होता है. आप इसे HDFC सिक्योरिटीज, ICICI डायरेक्ट, Axis डायरेक्ट जैसे किसी भी ब्रोकरेज के पास खुलवा सकते हैं.
- ब्रोकरेज फर्म का फैसला लेने के बाद आप उसकी वेबसाइट पर जाकर डीमैट अकाउंट ओपन करने का फॉर्म सावधानी से भरने के बाद उसकी KYC प्रोसेस को पूरा करें.
- KYC के लिए फोटो आईडी प्रूफ, एड्रेस प्रूफ के लिए डॉक्यूमेंट की जरूरत पड़ेगी. जब ये प्रोसेस पूरी हो जाएगा तो उसके बाद इन-पर्सन वेरिफिकेशन होगा. संभव है जिस फर्म से आप डीमैट अकाउंट खुलवा रहे हों, वो अपने सर्विस प्रोवाइडर के दफ्तर आपको बुलवाएं.
- इस प्रोसेस को पूरा होने के बाद आप ब्रोकरेज फर्म के साथ टर्म ऑफ एग्रीमेंट साइन करते है. ऐसा करने के बाद आपका डीमैट अकाउंट खुल जाता है.
- फिर आपको डीमैट नंबर और एक क्लाइंट आईडी दी जाएगी.
कौन खोलेगा डीमैट खाता
इंडिया में डीमैट खाता खोलने का काम दो संस्थाएं करती है. जिसमें पहली है NSDL (National Securities Depository Limited) और दूसरी है CDSL (central securities depository limited). 500 से अधिक एजेंट्स इन depositories के लिए काम करते है, जिनको आम भाषा में डीपी भी कहा जाता है. इनका काम डीमैट अकाउंट खोलना होता है.
जरूरी शर्तें
डीमैट अकाउंट खोलने के लिए सबसे ज्यादा जरूरी शर्त होती है कि जो व्यक्ति शेयर ट्रेडिंग के लिए डीमैट अकाउंट खुलवा रहा हो उसकी उम्र 18 साल से ज्यादा होनी चाहिए. साथ ही इसके लिए उस व्यक्ति के पास पैन कार्ड, बैंक अकाउंट आइडेंटिटी और एड्रेस प्रूफ होना जरूरी है.
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