पहले प्रोमोटर पर हो एक्शन, फिर करो कंपनी डीलिस्ट: अनिल सिंघवी

#S-MMM शेयरों पर CFD - ट्रेडिंग सस्पेंशन

3M Company

3 एम कंपनी में कॉर्पोरेट घटनाओं के कारण, #S-MMM 09/01/2022 से निलंबित कर दी जाएगी। #S-MMM पर सभी ओपन पोजीशन 08/31/2022 को बाजार में बंद हो जाएंगी। भविष्य में व्यापार की अनुमति दी जाएगी.

#S-TSLA शेयर CFD - ट्रेडिंग सस्पेंशन

Tesla

टेस्ला मोटर्स इंक में कॉर्पोरेट घटनाओं (स्टॉक स्प्लिट) के कारण #S-TSLA 08/22/2022 से बंद कर दिया जाएगा। #S-TSLA पर सभी खुले पदों को 08/19/2022 को बाजार बंद होने पर बंद कर दिया जाएगा। भविष्य में व्यापार की अनुमति दी जाएगी।.

Diwali Muhurat Trading 2022: मुहूर्त ट्रेडिंग सेशन में बाजार ने किया है बेहतर प्रदर्शन, 15 में से 11 बार तेजी के साथ हुआ बंद

Diwali Muhurat Trading 2022: ट्रेडिंग सस्पेंशन आंकड़ों के मुताबिक, पिछले 15 वर्षों में से 11 बार मुहूर्त ट्रेडिंग सेशन में बाजार बढ़त के साथ बंद होने में कामयाब रहा है. 2017, 2016, 2012 और 2007 में ट्रेडिंग सस्पेंशन मुहूर्त ट्रेडिंग के दौरान बाजार में गिरावट रही थी.

संवत 2078 पिछले सात सालों में भारतीय बाजारों के लिए सबसे खराब साल रहा. (File Photo)

Diwali Muhurat Trading 2022: दिवाली (Diwali) के दिन शेयर मार्केट (Share Market) सुबह बंद रहता है लेकिन शाम को बाजार मुहूर्त ट्रेडिंग के लिए 1 घंटे खुलता है. इस मौके पर बाजार में निवेश करना शुभ माना जाता है. बड़े और छोटे हर तरह के निवेशक मुहूर्त ट्रेडिंग पर ट्रेडिंग करना पसंद करते हैं. हिंदू कैलेंडर वर्ष के अनुसार आज मुहूर्त ट्रेडिंग के साथ संवत 2079 शुरू हो जाएगा. मुहूर्त ट्रेडिंग में बाजार ने ऐतिहासिक रूप से काफी अच्छा प्रदर्शन किया है. ज्यादातर मुहूर्त पर सेंसेक्स में तेजी रही लेकिन अगले सेशन में गिरावट आई.

मुहूर्त ट्रेडिंग 2022 की टाइमिंग

संवत 2079 के शुभारंभ के अवसर पर दिवाली के दिन बीएसई (BSE) और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) में मुहूर्त कारोबार (Muhurt Trading Time) इस साल एक घंटे शाम 6.15 बजे से लेकर 7.15 बजे तक का होगा. ब्लॉक डील शाम 5.45 बजे से शाम 6 बजे तक होगी. मुहूर्त ट्रेडिंग शाम 6:00 से 6:08 बजे प्री ओपन ट्रेडिंग सेशन होगा.

मंगलवार को शेयर मार्केट फिर से पुराने समय पर खुलेगा. 26 अक्टूबर 2022 यानी बुधवार को स्टॉक मार्केट मे दिवाली बलिप्रदा की वजह से कोई कारोबार नहीं होगा. वहीं फिर से गुरुवार और शुक्रवार को निवेशकों के लिए मार्केट खुला रहेगा.

संवत 2078 में इतनी बढ़ी निवेशकों की दौलत

हिंदू कैलेंडर वर्ष के मुताबिक संवत 2078 में सेंसेक्स 456 अंक गिरकर 59,307.15 अंक पर बंद हुआ. जबकि निफ्टी 253 अंक फिसलकर 17,576.30 के स्तर पर बंद हुआ. संवत 2078 में शेयर बाजार के निवेशकों की दौलत 11.3 लाख करोड़ रुपये बढ़ी. एक वर्ष में बीएसई लिस्टेड कंपनियों का मार्केट कैप 11.3 लाख करोड़ रुपये बढ़कर 274.4 लाख करोड़ रुपये बढ़ा. ऐतिहासिक आंकड़े बताते ट्रेडिंग सस्पेंशन हैं कि संवत 2078 पिछले सात सालों में भारतीय बाजारों के लिए सबसे खराब साल रहा.

15 में से 11 बार दिवाली के दिन चढ़ा बाजार

आंकड़ों के मुताबिक, पिछले 15 वर्षों में से 11 बार मुहूर्त ट्रेडिंग पर बाजार बढ़त के साथ बंद होने में कामयाब रहा है. साल 2021 की दिवाली के दिन एक घंटे के लिए हुई मुहूर्त ट्रेडिंग के दौरान सेंसेक्स-निफ्टी हरे निशान में बंद हुए थे. सेंसेक्स 296 अंक या 0.49% की बढ़त के साथ 60,067.62 के स्तर पर बंद हुआ था, जबकि निफ्टी 88 अंक उछलकर 17,916.80 के स्तर पर बंद हुआ.

साल 2020 में दिवाली के दिन बाजार 0.45% चढ़कर बंद हुआ था. जबकि साल 2019 में दिवाली के दिन बाजार में 0.49% की तेजी दर्ज की गई थी. वहीं 2018 में मुहूर्त ट्रेडिंग में 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 0.70% उछला था. 2017, 2016, 2012 और 2007 में मुहूर्त ट्रेडिंग के दौरान बाजार में गिरावट रही थी.

2008 में मुहूर्त ट्रेडिंग सेशन में बाजार ने लगाई थी लंबी छलांग

साल 2008 में दिवाली के दिन बाजार ने सबको चौंकाया था. 28 अक्टूबर 2008 को दिवाली के दिन 1 घंटे के मुहूर्त ट्रेडिंग सेशन सेंसेक्स 5.9% चढ़ा था.

Ukraine Russia Crisis: रूस की Moscow एक्सचेंज ने सभी तरह की ट्रेडिंग को किया सस्पेंड

अपनी बेवसाइट पर एक छोटी-सी रिलीज़ में एक्सचेंज ने कहा,

नई दिल्ली. Ukraine Russia Crisis : रूस के मॉस्को स्टॉक एक्सचेंज (Moscow Stock Exchange) ने गुरुवार को कहा कि वह रूस द्वारा यूक्रेन पर पूरी तरह आक्रमण शुरू करने के मद्देनजर सभी तरह की ट्रेडिंग निलंबित कर दी हैं. अपनी बेवसाइट पर एक छोटी-सी रिलीज़ में एक्सचेंज ट्रेडिंग सस्पेंशन ने कहा, “मॉस्को एक्सचेंज ने अगले नोटिस तक सभी तरह की ट्रेडिंग को सस्पेंड कर दिया है.”

बता दें कि बुधवार को बाजार में फादरलैंड डे 2022 (Fatherland Day 2022) की छुट्टी के चलते ट्रेडिंग नहीं हो पाई थी. अपनी रिलीज़ में एक्सचेंज ने कहा, “23 फरवरी और 8 मार्च 2022 को, सभी तरह की सिक्योरिटीज़ जो उस दिन पर ट्रेड होंगी, उनके अपने स्टैंडर्ड इंडीकेटर्स – जिसमें क्लोजिंग प्राइस, एडमिडेड कोट्स और मार्केट प्राइस शामिल हैं – वर्तमान पद्धति (Methodologies) के अुनसार कैलकुलेट और डिस्क्लोज किए जाएंगे.”

एक्सचेंज की तरफ से ये फैसला तब आया है जब रूस के बाजारों में भयंकर बिकवाली हुई और बड़ी गिरावट देखने को मिली. इसके अवाला अमेरिका ने रूस पर लगाए प्रतिबंधों का असर भी डेट मार्केट (Debt Market) में रूस के बैंकों और अमीर लोगों पर भी पड़ा.

US से लेकर जर्मनी तक ने लगाए रूस पर प्रतिबंध

यूनाइटेड स्टेट्स ने कहा था कि वे रशियन गवर्नमेंट डेट (Russian government debt) की ट्रेडिंग पर अपने प्रतिबंध और कड़े कर रहे हैं. ब्रिटेन ने रूस के 5 बैंकों और तीन अरबपतियों पर प्रतिबंध लगाए हैं. जापान ने घरेलु स्तर पर रशियन बॉन्ड इश्यू करने पर प्रतिबंध लगाने के साथ-साथ रूस के कुछ व्यक्तियों की संपतियों को फ्रीज़ किया है.

इनके अलावा, जर्मनी ने यह भी घोषणा की कि वह रूस से नॉर्ड स्ट्रीम 2 गैस पाइपलाइन के सर्टीफिकेशन पर रोक लगा रहा है. यह माना जाता था कि रूसी समर्थित अलगाववादियों को सैन्य रूप से समर्थन देने के लिए उठाए ट्रेडिंग सस्पेंशन गए रूसी कदम और दो यूक्रेनी क्षेत्रों को स्वतंत्र मानने पर अधिक प्रतिबंध लगाए जा सकते हैं.

भारत रूस से लेता है महज 1% क्रूड ऑयल

यह तीसरा सबसे बड़ा देश है, जो प्रतिदिन लगभग 5 मिलियन बैरल कच्चे तेल का निर्यात करता है, जिसमें से आधे से अधिक यूरोप और 42 प्रतिशत एशिया को भेजा जाता है. भारत रूसी कच्चे तेल के निर्यात का 1 प्रतिशत भी नहीं खरीदता है, क्योंकि अधिकांश भारतीय रिफाइनरियां रूस द्वारा निर्यात किए जाने वाले भारी कच्चे तेल को प्रोसेस नहीं कर सकती हैं. इसके अलावा, दोनों देशों के बीच पाइपलाइनों की कमी है, जिसके चलते परिवहन लागत अधिक है. हालांकि रूस और भारत डिफेंस सेक्टर में एक दूसरे के काफी करीबी हैं.

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16 कंपनियों में बंद हो सकती है ट्रेडिंग, आपने भी लगाया है पैसा तो देख लीजिए लिस्ट

अचानक किसी कंपनी में ट्रेडिंग बंद होने पर निवेशकों के पैसे का क्या होगा? ऐसा ही 16 कंपनियों के निवेशक इन दिनों सोच रहे हैं.

BSE पर लिस्टेड 16 कंपनियों में जल्द ही ट्रेडिंग बंद हो सकती है. BSE ने इसे लेकर एक सर्कुलर जारी किया है.

शेयर बाजार में रोजाना कंपनियों में लाखों लोग ट्रेडिंग करते हैं. निवेश अपना पैसा इसलिए इन्वेस्ट करते हैं क्योंकि मार्केट से बेहतर रिटर्न मिल सकता है. लेकिन, यहां रिटर्न जितना बेहतर है उतना ही बड़ा रिस्क भी है. अचानक किसी कंपनी में ट्रेडिंग बंद होने पर निवेशकों के पैसे का क्या होगा? ऐसा ही 16 कंपनियों के निवेशक इन दिनों सोच रहे हैं. दरअसल, इन 16 कंपनियों की गलती की सजा निवेशकों को उठानी पड़ सकती है. BSE पर लिस्टेड 16 कंपनियों में जल्द ही ट्रेडिंग बंद हो सकती है. BSE ने इसे लेकर एक सर्कुलर जारी किया है.

BSE के सर्कुलर के मुताबिक, 4 नवंबर 2019 से इन कंपनियों के शेयरों में ट्रेडिंग पर रोक लगाई जा सकती ट्रेडिंग सस्पेंशन है. कंपनियों पर लिस्टिंग के नियमों को उल्लंघन का आरोप है. साथ ही कुछ कंपनियों ने ट्रेडिंग सस्पेंशन मार्च और जून तिमाही के नतीजे पेश किए हैं. अगर कंपनियों ने भी अब भी ट्रेडिंग सस्पेंशन समय रहते अपनी गलतियों में सुधार नहीं किया तो इनके शेयरों में ट्रेडिंग बंद हो जाएगी. BSE ने कंपनियों को 31 अक्टूबर तक का समय दिया है. इसके अलावा NSE पर भी 7 कंपनियों की ट्रेडिंग बंद हो सकती है. ट्रेडिंग बंद होने से सबसे ज्यादा नुकसान रिटेल निवेशकों का होगा.

इन 16 कंपनियों में बंद होगी ट्रेडिंग
8K माइल्स, डॉल्फिन ऑफशोर, मयूर लैदर प्रोडक्ट्स, एटलस साइकिल (Haryana) Ltd, सुप्रीम इंफ्रा, मनपसंद बेवरेजेज, बिनानी इंडस्ट्रीज, Dion ग्लोबल सॉल्यूशन, हाई ग्राउंड एंटरप्राइजेज, जेजे एक्सपोर्टर्स, Marg Ltd, राठी ग्राफिक टेक्नोलॉजी, Sang Froid Labs (India) ट्रेडिंग सस्पेंशन Ltd, सुप्रीम इंफ्रा, Cosboard Industries, NR इंटरनेशनल और रियल ग्रोथ कमर्शियल एंटरप्राइजेज.

पहले प्रोमोटर पर हो एक्शन, फिर करो कंपनी डीलिस्ट: अनिल सिंघवी

BSE के मुताबिक, कोसबोर्ड इंडस्ट्रीज, NR इंटरनेशनल, रियल ग्रोथ कमर्शियल एंटरप्राइसेज ने फाइनेंशियल रिजल्ट तो घोषित कर दिए हैं. लेकिन, जुर्माने का भुगतान नहीं किया ट्रेडिंग सस्पेंशन है. BSE ने कहा है कि फिलहाल कंपनियों की पूरी प्रोमोटर शेयरहोल्डिंग को 11 अक्टूबर से फ्रीज कर दिया गया है. एक दूसरे नोटिस में NSE ने कहा है कि वो भी 7 कंपनियों की ट्रेडिंग को सस्पेंड करने वाला है. इन कंपनियों में बिनानी इंडस्ट्रीज, मनपसंद बेवरेजेज जैसी कंपनियां शामिल हैं. 4 नवंबर से इनकी ट्रेडिंग पर रोक लगाई जा सकती है. दोनों ही कंपनियों ने मार्च और जून तिमाही के नतीजे पेश नहीं किए हैं.

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